शिवसेना (यूबीटी) के अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने रविवार को अहमदनगर जिले के शिरडी में आयोजित एक कार्यक्रम में सरकारी कर्मचारियों के सामने बड़ा वादा किया। उन्होंने कहा कि अगर उनकी पार्टी सत्ता में आती है, तो पुरानी पेंशन योजना (OPS) को लागू किया जाएगा। यह कार्यक्रम सरकारी कर्मचारियों द्वारा पुरानी पेंशन योजना की मांग को लेकर आयोजित किया गया था, जिसमें ठाकरे ने खुलकर अपने विचार व्यक्त किए।
उद्धव ठाकरे का बड़ा ऐलान
उद्धव ठाकरे ने कहा, “जब मैं मुख्यमंत्री था, तब कोरोना महामारी के कारण पुरानी पेंशन योजना लागू नहीं कर सका। अब हमारी सरकार बनते ही इसे प्राथमिकता पर लागू किया जाएगा।” उन्होंने आगे कहा कि सरकारी कर्मचारी लंबे समय से पुरानी पेंशन योजना को फिर से लागू करने की मांग कर रहे हैं, लेकिन केंद्र और राज्य सरकारें उनकी इस महत्वपूर्ण मांग पर ध्यान नहीं दे रही हैं। केंद्रीय वित्त मंत्री ने भी स्पष्ट कर दिया है कि पुरानी पेंशन योजना लागू नहीं की जाएगी, जिससे कर्मचारियों में निराशा है।
पुरानी पेंशन योजना: कर्मचारियों की महत्वपूर्ण मांग
पुरानी पेंशन योजना (OPS) सरकारी कर्मचारियों के लिए एक महत्वपूर्ण विषय है, क्योंकि यह उन्हें सेवा निवृत्ति के बाद वित्तीय सुरक्षा प्रदान करती थी। वर्तमान में लागू नई पेंशन योजना (NPS) के तहत कर्मचारियों को पेंशन की गारंटी नहीं मिलती, जिससे उनका भविष्य असुरक्षित हो जाता है। ठाकरे ने कहा, “सरकारी कर्मचारी आजीवन जनता की सेवा करते हैं, और सेवानिवृत्ति के बाद पेंशन न मिलने पर उनका भविष्य अंधकारमय हो जाता है। यह सरकार की जिम्मेदारी है कि वह उनकी इस मांग को गंभीरता से ले।”
नाना पटोले का समर्थन
महाराष्ट्र प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष नाना पटोले ने भी इस कार्यक्रम में हिस्सा लिया और कर्मचारियों को आश्वासन दिया कि कांग्रेस सरकार आने पर पुरानी पेंशन योजना को लागू करने का निर्णय पहले ही कैबिनेट में लिया जाएगा। उन्होंने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा, “भाजपा सरकार के कार्यकाल में पुरानी पेंशन योजना को खत्म कर दिया गया था, लेकिन अब भाजपा यह झूठा प्रचार कर रही है कि यह कांग्रेस ने खत्म की थी।”
महाविकास आघाड़ी का कार्यकाल और अजीत पवार पर आरोप
पटोले ने उपमुख्यमंत्री अजीत पवार की ओर इशारा करते हुए कहा कि महाविकास आघाड़ी के कार्यकाल के दौरान इस योजना को लागू करने में बाधाएं आईं, लेकिन अब जब अजीत पवार उनके साथ नहीं हैं, तो इस योजना को लागू करने में कोई समस्या नहीं होगी। उन्होंने स्पष्ट किया कि उनकी सरकार आने पर पुरानी पेंशन योजना को प्राथमिकता दी जाएगी और कर्मचारियों की यह मांग पूरी की जाएगी।
निष्कर्ष
सरकारी कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना एक महत्वपूर्ण मुद्दा है, जिसे लेकर राजनीतिक दलों के बीच गहरी चर्चा हो रही है। उद्धव ठाकरे और नाना पटोले के वादों से यह स्पष्ट होता है कि पुरानी पेंशन योजना फिर से लागू करने की दिशा में उनकी प्रतिबद्धता मजबूत है। अब देखने वाली बात यह होगी कि अगले चुनावों में यह मुद्दा कितनी अहम भूमिका निभाता है और क्या सच में यह योजना लागू हो पाती है।