31 जुलाई 2023 को लोकसभा में वित्तीय सेवाएं विभाग के तहत पेन्शनभोगि की पेंशन योजना पर एक महत्वपूर्ण प्रश्न उठाया गया। यह प्रश्न श्री राजमोहन उन्नीथन द्वारा प्रस्तुत किया गया था, जिसमें उन्होंने बैंकों में पेंशन योजना की अद्यतन स्थिति और संशोधन की आवश्यकता के बारे में जानकारी मांगी।
प्रमुख प्रश्न
श्री राजमोहन उन्नीथन ने वित्त मंत्री से निम्नलिखित बिंदुओं पर जानकारी मांगी:
- पेंशन योजना में संशोधन की आवश्यकता:
क्या सरकार इस बात से अवगत है कि बैंकों में पेंशन योजना शुरू हुए 28 वर्ष हो चुके हैं और अभी तक इसमें कोई संशोधन नहीं हुआ है? विशेष रूप से पुराने सेवानिवृत्त व्यक्तियों को बहुत कम पेंशन मिल रही है, जिससे उनका जीवनयापन कठिन हो गया है। - पेंशन और वेतन संशोधन में असमानता:
क्या बैंक से सेवानिवृत्त व्यक्तियों की पेंशन योजना को केन्द्र और राज्य सरकार की पेंशन योजनाओं की तरह वेतन संशोधन के साथ अद्यतन नहीं किया जाता है? - पेंशन योजना को संशोधित करने का प्रस्ताव:
क्या सरकार के पास बैंक से सेवानिवृत्त व्यक्तियों की पेंशन योजना को बढ़ाने या संशोधित करने का कोई प्रस्ताव है ताकि पेंशनभोगियों की पेंशन उनकी मूलभूत आवश्यकताओं को पूरा करने में सक्षम हो और उनकी जीवनशैली को ध्यान में रखते हुए पर्याप्त हो? - यदि कोई संशोधन नहीं है तो इसके कारण:
यदि पेंशन योजना में कोई संशोधन नहीं किया गया है, तो इसके पीछे क्या कारण हैं?
वित्त मंत्रालय का उत्तर
वित्त मंत्रालय में राज्य मंत्री डॉ. भागवत कराड ने श्री राजमोहन उन्नीथन के प्रश्नों का उत्तर देते हुए निम्नलिखित जानकारी प्रदान की:
- पेंशन योजना की स्थापना और अद्यतन:
बैंकों में पेंशन योजना की शुरुआत 29 अक्टूबर 1993 को एक द्विपक्षीय समझौते के माध्यम से हुई थी, जिसमें बैंक कर्मचारी यूनियनों/संघों और भारतीय बैंक संघ (आईबीए) के बीच समझौता हुआ था। इस योजना के तहत 1 जनवरी 1986 या उसके बाद सेवानिवृत्त हुए कर्मचारियों को पेंशन का लाभ मिलना शुरू हुआ। इस योजना को संचालित करने के लिए बैंकिंग कंपनी अधिनियम, 1970/1980 के अंतर्गत पेंशन विनियम 1995 बनाए गए थे।
इन विनियमों के तहत पेंशन में संशोधन का कोई प्रावधान नहीं है, लेकिन पेंशनभोगियों को महंगाई राहत (DA) दी जाती है, जो हर छह महीने में बढ़ाई जाती है। - पेंशन अद्यतन पर न्यायिक विचार:
आईबीए ने यह भी सूचित किया है कि बैंकों की पेंशन को अद्यतन करने का मामला भारत के माननीय उच्चतम न्यायालय के विचाराधीन है। इस पर अभी कोई अंतिम निर्णय नहीं हुआ है।
निष्कर्ष
वर्तमान स्थिति में बैंकों से सेवानिवृत्त व्यक्तियों की पेंशन योजना में कोई प्रमुख संशोधन नहीं किया गया है। हालांकि, पेंशनभोगियों को महंगाई राहत मिलती रहती है, लेकिन पेंशन को अद्यतन करने का निर्णय उच्चतम न्यायालय पर निर्भर है।
सुझाव:
सेवानिवृत्त व्यक्तियों की जीवनशैली और उनकी मूलभूत आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए, यह आवश्यक है कि पेंशन योजना में समय-समय पर संशोधन किया जाए ताकि वे सम्मानपूर्वक जीवनयापन कर सकें।